मोहब्बत क्यों ये मुश्किल काम है? पहलू में उनके सुकूँ, आराम है! क्यों दुनिया में आशिकी बदनाम है? उनकी शिकायत, ये जरूरी काम है! फिक्र है मेरी ये उनका काम है, ये समझ लेना सफर का नाम है! सब शिकायत है मेरी ख़ामोशी से चुप हैं हम और खासे बदनाम हैं! नज़र जब भी नज़रिया बन जाए, समझ लीजे किसी का काम तमाम है! ज़िंदगी जी रही है ख़ूब दोनों को, हम हैं साकी और वो जाम है! मोहब्बत गहरी पहचान है, सुबह मेरी ओ उनकी शाम है!
अकेले हर एक अधूरा।पूरा होने के लिए जुड़ना पड़ता है, और जुड़ने के लिए अपने अँधेरे और रोशनी बांटनी पड़ती है।कोई बात अनकही न रह जाये!और जब आप हर पल बदल रहे हैं तो कितनी बातें अनकही रह जायेंगी और आप अधूरे।बस ये मेरी छोटी सी आलसी कोशिश है अपना अधूरापन बांटने की, थोड़ा मैं पूरा होता हूँ थोड़ा आप भी हो जाइये।